Read-a-story-about-boy-and-black-magic : जाने डायन की शक्तियों को और एक युवक जो कई वर्षो से बंधा हुआ था : युवक की आपबीती

डायन (एक आत्मा की आपबीती ) 


करीब पांच साल पहले की घटना है, ज़ब मै अपने काम के सिलसिले मे हरिद्वार आया हुआ था, हरिद्वार से थोड़ी ही दूर पर मेरे मामाजी का घर था, सोचा यहाँ तक आया हूँ तो उनसे भी मिल लेता हूँ,

कच्ची सडक थी, वहा तक पहुंचने मे मुझे काफी दिक्क़त हुई लेकिन मै आखिरकार पहुंच ही गया, लगभग 10 साल बाद मै अपने नाना जी के घर आया था, मेरे मामाजी तीन भाई थे, लेकिन अब दो ही है, 

 सबसे छोटे मामाजी जो केवल 18 साल के थे, तभी  अचानक चल बसें, काफी कोमल दिल के थे सकल सूरत से राजकुमार लगते थे, 

वहा जाकर सारी पुरानी यादें ताज़ा हो गयी, वहा जाकर बस माँ से ही बाते हो रही थी मेरी फोन पर की अचानक घर मे एक बच्चा दाखिल हुआ, उसने क्या कहा वो तो मै सुन ना सका, पर उसके तुरंत बाद ही सारे घर के लोग एक दिशा मे भागते दिखे, आखिर उस बच्चे ने ऐसा क्या केह दिया, 

इसी अफरा तफरी मे मशीन भी वहा पहुंचा, देखा तो एक 25-26 साल का युवक एक बुढ़िया के गले को पकडे दबाये जा रहा था, थोड़ी देर सबकी बाते सुनने समझने के बाद जो बात सामने आयी मेरी, सच मे दिल दहला देने वाला किस्सा था, 

वो युवक खुद को कैलाश बता रहा था, हा कैलाश,  मतलब मेरे मामाजी जिसका जिक्र मैंने थोड़े देर पहले की थी, युवक का कहना था की इस बुढ़िया ने उसकी जान ले ली, इतना ही नही उसे अपनी मंत्र शक्ति से 5 सालो तक जंजीरो मे कैद रखा था, 

मै ये सब देख कर यहीं सोच रहा था ऐसा कैसे हो सकता है, कोई मर कर वापस कैसे आ सकता है, बिज्ञान के लिए ये सब बकवास की बाते है, मुझे युवक की बातो का बिलकुल भी विस्वास नही हो रहा था, इसलिए मै वही रुककर सब देखता रहा, मेरे साथ एक भारी भीड़ युवक को घेरे खड़ी थी, सब सिर्फ सच जानना चाह रहे थे, क्या सच मे ये वही कैलाश है जो पांच साल पहले मर चूका था, दिमाग़ मे सारी बाते चल ही रही थी की मेरी नानी उस युवक के पास जा पहुंची, थोड़े समय के लिए सब डर्र गये कही युवक इनका भी गला ना दबाने लगे, 

लेकिन ऐसा नही हुआ, युवक ने नानी को..... माँ माँ केह कर गले से लगा लिया, दोनों थोड़ी देर तक बिलाप करते रहे, उसके बाद नानी ने युवक से पूछा उसदिन क्या हुआ था बेटा तुझे,? 

" युवक बताने लगा की माँ मै एक दिन बाहर अपने दोस्तों के साथ खेल रहा था, तभी मेरे हाथ से बोल एक बुढ़िया को जा लगा, मैंने जाकर उससे माफ़ी भी मांगी और अपना बॉल लेकर वापस आ गया, लेकिन वो बस मुझे एकटक देखती रही, ना कुछ बोली  ना कुछ किया , 

उसके बाद मै जहा जाता मुझे वो अपने आस पास दिखती, यहाँ तक की सपनो मे भी वही दिखती, मरने से पहले मै तुझे बताना चाह रहा था माँ की मुझे कुछ ठीक नही लग रहा है, लेकिन वो मेरे आस पास रहती इसलिए तुझसे भी कुछ नही केह पाता, बेटा मै तुझे मना करती थी ना उस मैदान मे मत खेलना, वहा डायन रहती है, 

हा माँ, तेरी बाते मैंने नही मानी, और उसी डायन के हत्थे चढ़ गया, जब तू पानी लाने गयी थी ना माँ, उस समय मै बिलकुल अकेला था, मुझे लग रहा था जैसे मेरे सीने मे कुछ भी नहीं है, मेरी धड़कन बंद हो रही थी, और तेरे हाथ से पानी पीकर मैंने अपनी आखिरी सांस ली थी माँ, तुझे याद है ना, 

हा बेटा मुझे याद है, 
दो दिन बाद मै घर आया था माँ, सब बेहद दुखी थे, दोनों  भैया, पिताजी, और बाकि के परिवार वाले, लेकिन मै किसी को कुछ ना बता सका, 

फिर दूसरी बार मैंने अपने देहलीज़ पर पांव रखा, तो मुझे ऐसा लगा जैसे काटो की सेज पर अपने पांव रख दिए हो, बहुत कोशिश के बाद भी मै घर ना जा सका माँ, उस डायन ने मेरे लिये चारो तरफ काटे बिछा रखे थे, आज बहुत मुश्किल से मै इस युवक पे हावी हो पाया हूँ , 

बेटा तू नही आता तो कभी 
हम जान नही पाते की तेरा खून किया था डायन ने, "

सारी बातो से ये साफ हो चूका था के उस युवक के अंदर सच मे कैलाश मामा जी थे, 

कैलाश मामा देखने मे काफी अच्छे और बिलकुल दूध की तरह गोरे थे, इसलिए उस डायन को भा गये, डायन जाती
सुंदर और कम उम्र वाले बच्चों को अपना शिकार इसलिए बनाती है, ताकि वो उस बच्चे की उम्र और सुंदरता अपने अंदर शामिल कर ले, 

उस डायन बुढ़िया की उम्र फिहल 80 साल के करीब थी, इसलिए उसके घरवालों ने उसे बाहर छोड़ दिया, बेघर होकर अब वाह बुढ़िया अपने मरने के इंतजार मे है,  

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